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रामा रामा रटो, करो सफल उमरिया (Rama Rama Rato Karo Safal Umariya )

रामा रामा रटो, करो सफल उमरिया (Rama Rama Rato Karo Safal Umariya )

रामा रामा रटो,

करो सफल उमरिया,

मिल जाएगी डगर,

जप लोगे जो गर,

प्रभु राम का नाम,

राम का नाम,

रामा रामा रटों,

करो सफल उमरिया ॥


ऐ प्राणी है तेरी ज़िंदगानी,

एक अंधियारी रात रे,

ले ले सहारा राम नाम का,

जप की माला हाथ रे,

साथ ना छूटे आस ना टूटे,

राम का है बड़ा काम रे,

रामा ही भरेंगे,

तेरी भक्ति की गगरिया,

मिल जाएगी डगर,

जप लोगे जो गर,

प्रभु राम का नाम,

राम का नाम,

रामा रामा रटों,

करो सफल उमरिया ॥


राम नाम के सागर से तू,

भर ले एक गगरिया रे,

इस पारस से सोना करले,

मन की सूनी नगरिया रे,

बड़े बड़े ऋषियो ने है गाया,

बस एक राम का नाम रे,

सारे रिश्ते झूठे,

सांचे रामा ही सांवरिया,

मिल जाएगी डगर,

जप लोगे जो गर,

प्रभु राम का नाम,

राम का नाम,

रामा रामा रटों,

करो सफल उमरिया ॥


बड़े बड़े गुणी जान ना पाए,

राम की लीला महान रे,

राम ही श्रष्टि के निर्माता,

राम को पगले जान रे,

रामा को तो राम ही जाने,

जो त्रेता अवतार है,

रामा रामा जपे,

सारी नगरी अवधिया,

मिल जाएगी डगर,

जप लोगे जो गर,

प्रभु राम का नाम,

राम का नाम,

रामा रामा रटों,

करो सफल उमरिया ॥


दो अक्षर के नाम में देखो,

तीनो लोक समाए है,

जो भी इनका सुमिरन करते,

भव सागर तर जाए है,

मर्यादा जो है सिखलाते

ऐसे निराले राम है,

रघुराई बोलो,

चाहे राम रचैया,

मिल जाएगी डगर,

जप लोगे जो गर,

प्रभु राम का नाम,

राम का नाम,

रामा रामा रटों,

करो सफल उमरिया ॥


रामा रामा रटो,

करो सफल उमरिया,

मिल जाएगी डगर,

जप लोगे जो गर,

प्रभु राम का नाम,

राम का नाम,

रामा रामा रटों,

करो सफल उमरिया ॥

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नवरात्रि व्रत सबसे पहले किसने रखा था

नवरात्रि को हिंदू धर्म का एक महत्वपूर्ण त्योहार माना जाता है, जिसे नौ दिनों तक मनाया जाता है। इसमें देवी दुर्गा और उनके नौ रूपों की पूजा की जाती है।

मां दुर्गा के 108 नाम जाप की विधि

नवरात्रि पर्व का आगमन होते ही चारों ओर भक्ति और सकारात्मक ऊर्जा का वातावरण बन जाता है। विशेषकर चैत्र नवरात्रि में मां दुर्गा की पूजा से न केवल मन को शांति मिलती है, बल्कि जीवन में सकारात्मकता और शक्ति का संचार भी होता है।

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नवरात्रि के दिनों में हमने देखा है कि जहां भी मां दुर्गा की पूजा होती है। वहां माता की मूर्ति के साथ उस परम शक्तिशाली असुर महिषासुर की भी प्रतिमा माता के साथ होती है।

चैत्र नवरात्रि पर कलश स्थापना कब करें

जगत जननी मां दुर्गा की पूजा करने से भक्तों की सभी मनोकामनाएं पूरी होती हैं। साथ ही, जीवन में व्याप्त सभी समस्याओं से मुक्ति मिलती है। नवरात्रि की शुरुआत प्रतिपदा तिथि पर कलश स्थापना से होती है।

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