ये मैया मेरी है,
सबसे बोल देंगे हम,
तोड़ के दुनिया से नाता,
माँ तुमसे जोड़ लेंगे हम,
ये मैया मेरी हैं,
सबसे बोल देंगे हम ॥
तुम्हारा ही भरोसा है,
तुम्हारा ही सहारा है,
मेरी आँखो के आगे माँ,
बस तेरा ही नजारा है,
एक यही विनती है,
पास रखना मैया हरदम,
ये मैया मेरी हैं,
सबसे बोल देंगे हम ॥
जो कुछ भी पास है मेरे,
तुम्हारी है मेहरबानी,
तुम्हारी ही दया से माँ,
चले मेरा दानापानी,
मुझे भी अपना लो,
सफल हो जायेगा जनम,
ये मैया मेरी हैं,
सबसे बोल देंगे हम ॥
सभी है बेटे माँ तेरे,
हमें इकबार कह दे तू,
‘श्याम’ को लेकर गोदी में,
थोड़ा सा प्यार करले तू,
अगर माँ मिल जाये,
जमाना छोड़ देंगे हम,
ये मैया मेरी हैं,
सबसे बोल देंगे हम ॥
ये मैया मेरी है,
सबसे बोल देंगे हम,
तोड़ के दुनिया से नाता,
माँ तुमसे जोड़ लेंगे हम,
ये मैया मेरी हैं,
सबसे बोल देंगे हम ॥
पितृ पक्ष में घर में इस विधि से कर सकते हैं पितरों की पूजा और हवन
देश भर पिंड दान के लिए 55 स्थान लेकिन गया शहर में फल्गु नदी तट का विशेष महत्व
बिना पुजारी या पंडित के घर में ऐसे करें श्राद्ध कर्म, जल्द मिलेगा पितरों का आशीर्वाद
बिना पुजारी या पंडित के घर में ऐसे करें श्राद्ध कर्म, जल्द मिलेगा पितरों का आशीर्वाद