अब मैं सरण तिहारी जी,
मोहि राखौ कृपा निधान ॥
अजामील अपराधी तारे,
तारे नीच सदान ।
जल डूबत गजराज उबारे,
गणिका चढी बिमान ॥
अब मैं सरण तिहारी जी,
मोहि राखौ कृपा निधान ॥
और अधम तारे बहुतेरे,
भाखत संत सुजान ।
कुबजा नीच भीलणी तारी,
जागे सकल जहान ॥
अब मैं सरण तिहारी जी,
मोहि राखौ कृपा निधान ॥
कहँ लग कहूँ गिणत नहिं आवै,
थकि रहे बेद पुरान ।
मीरा दासी शरण तिहारी,
सुनिये दोनों कान ॥
अब मैं सरण तिहारी जी,
मोहि राखौ कृपा निधान ॥
अब मैं शरण तिहारी जी,
मोहि राखौ कृपा निधान ॥
भोलेनाथ की दीवानी,
गौरा रानी लागे,
भोलेनाथ की शादी है हम सारे जाऐंगे,
भोलेनाथ की शादी में नाचेंगे गाएंगे,
भोले बाबा से जिनका सम्बन्ध है,
उनके घर में आनंद ही आनंद है ॥
भोलेनाथ मेरे मरने से पहले,
ऐसी चिलम पिला देना,