शिव पार्वती ने तुम्हे,
वरदान दे दिया,
श्री गणेश ये कलयुग,
तुम्हारे नाम कर दिया ॥
ब्रम्हा ने वेद,
सरस्वती ज्ञान दे रही,
विष्णु के संग लक्ष्मी,
धन धान दे रही,
प्रथमेश तुम बनो,
ये अभयदान दे दिया,
श्री गणेश ये कलयुग,
तुम्हारे नाम कर दिया ॥
कैलाश पे तुम्हारी,
जय जयकार कर रहे,
हे गजानंद तुमको,
नमस्कार कर रहे,
सबने तुम्हारे चरणों में,
प्रणाम कर लिया,
श्री गणेश ये कलयुग,
तुम्हारे नाम कर दिया ॥
तुम अष्टविनायक,
तुम्ही बुद्धि के प्रदाता,
सब सुख प्रदान करते,
रिद्धि सिद्धि के दाता,
भक्तो की झोलियों में,
धन धान भर दिया,
श्री गणेश ये कलयुग,
तुम्हारे नाम कर दिया ॥
कलयुग में भव से पार,
चाहो भक्तो जो जाना,
गौरी गजाननन को सदा,
मन से ही ध्याना,
भक्तो के मन में तुमने,
अपना स्थान कर दिया,
श्री गणेश ये कलयुग,
तुम्हारे नाम कर दिया ॥
शिव पार्वती ने तुम्हे,
वरदान दे दिया,
श्री गणेश ये कलयुग,
तुम्हारे नाम कर दिया ॥
मकर संक्रांति, हिंदू धर्म में विशेष महत्व रखता है। इस दिन गंगा में स्नान का काफी महत्व है। इस दिन महाकुंभ में स्नान किया जा सकता है।
सनातन हिंदू धर्म में सूर्य देवता से जुड़े कई प्रमुख त्योहार मनाने की परंपरा है। इन्हीं में से एक है मकर संक्रांति। शास्त्रों में मकर संक्रांति पर स्नान-ध्यान और दान करने से विशेष फल प्राप्त होता है।
2025 में, मकर संक्रांति 14 जनवरी को है। इस त्योहार को देश के सभी लोग अलग-अलग तरीके से मनाते हैं। मकर संक्रांति के दिन सूर्यदेव धनु राशि को छोड़कर मकर राशि में प्रवेश करते हैं।
मकर संक्रांति, हिंदू धर्म के प्रमुख त्योहारों में से एक माना जाता है। इस दिन भगवान सूर्य धनु से मकर राशि में प्रवेश करते हैं। यह दिन भगवान सूर्य को समर्पित होता है।