सालासर धाम निराला,
की बोलो जय बालाजी,
यहाँ आता किस्मत वाला,
की बोलो जय बालाजी,
सालासर धाम निरालां,
की बोलो जय बालाजी ॥
चर्चे जगत में भारी,
सालासर धाम के,
बन गए पुजारी,
जो भी वीर हनुमान के,
है कलयुग देव निराला,
की बोलो जय बालाजी,
सालासर धाम निरालां,
की बोलो जय बालाजी ॥
किस्मत से ज्यादा बाबा,
सबको ये देता है,
अपने भगत के सारे,
दुःख हर लेता है,
ये राम दूत मतवाला,
की बोलो जय बालाजी,
सालासर धाम निरालां,
की बोलो जय बालाजी ॥
चलती जहां में ‘साहिल’,
इनकी ही सत्ता है,
मर्जी बिना ना ‘पन्ना’,
हिले ना एक पत्ता है,
खोले तक़दीर का ताला,
की बोलो जय बालाजी,
सालासर धाम निरालां,
की बोलो जय बालाजी ॥
सालासर धाम निराला,
की बोलो जय बालाजी,
यहाँ आता किस्मत वाला,
की बोलो जय बालाजी,
सालासर धाम निरालां,
की बोलो जय बालाजी ॥
चैत्र नवरात्रि 30 मार्च 2025 रविवार से शुरू होकर 7 अप्रैल 2025 सोमवार को समाप्त होगी। इस पावन अवसर पर आप देश के विभिन्न प्रसिद्ध दुर्गा मंदिरों के दर्शन कर सकते हैं।
हिंदू धर्म में चैत्र नवरात्रि का बहुत महत्व है। ये विशेष पर्व हर साल चैत्र शुक्ल प्रतिपदा से शुरू होकर नौ दिनों तक चलता है। इस बार 2025 में चैत्र नवरात्रि 30 मार्च से शुरू होकर 7 अप्रैल तक चलेगी। इन नौ दिनों में मां दुर्गा के नौ रूपों की पूजा की जाती है।
चैत्र नवरात्रि शक्ति और विश्वास के साथ पूजा करने का सर्वोत्तम समय माना जाता है, लेकिन इस साल चैत्र नवरात्रि केवल पूजा-पाठ के लिए ही नहीं, बल्कि कुछ राशियों के लिए एक नई शुरुआत का मौका भी है।
इस साल की चैत्र नवरात्रि बहुत ही खास होने वाली है, क्योंकि इस साल शुक्र और बृहस्पति का खास संयोग बन रहा है। ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, धन और भोग विलास के प्रतीक शुक्र, अपने प्रतिकूल गुरु बृहस्पति के नक्षत्र "पूर्वाभाद्रपद" में प्रवेश करने वाले हैं।