अवध में छाई खुशी की बेला,
अवध में छाई खुशी की बेला,
लगा है, अवध पुरी में मेला ।
चौदह साल वन में बिताएं,
राम लखन सिया लौट के आए,
घर घर खुशियां छाई,
लगा है, अवध पुरी में मेला,
अवध में छाई खुशी की बेला,
अवध में छाई खुशी की बेला,
लगा है, अवध पुरी में मेला ।
कौशल्या माँ सुमित्रा कैकई,
सबके मन में आज खुशी भई,
कोई नहीं है अकेला,
लगा है, अवध पुरी में मेला,
अवध में छाई खुशी की बेला,
अवध में छाई खुशी की बेला,
लगा है, अवध पुरी में मेला ।
सिया राम को राज हुआ है,
खुशी से पागल हो रहे सब जन,
गुरु वशिष्ठ और चेला,
अवध में छाई खुशी की बेला,
अवध में छाई खुशी की बेला,
लगा है, अवध पुरी में मेला ।
BhaktiBharat Lyrics
अवध में छाई खुशी की बेला,
अवध में छाई खुशी की बेला,
लगा है, अवध पुरी में मेला ।
नवरात्रि में देवी की साधना और अध्यात्म का अद्भुत संगम होता है। इन दिनों में मां दुर्गा की पूजा करने से सभी प्रकार के दुख एवं परेशानियों से छुटकारा मिलता है।
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आज 02 अप्रैल 2025 चैत्र माह का सत्रहवां दिन है और आज इस पंचांग के अनुसार चैत्र माह के शुक्ल पक्ष तिथि पञ्चमी है। वहीं आज बुधवार का दिन है। इस तिथि पर आयुष्मान् योग है।
आज 03 अप्रैल 2025 चैत्र माह का अठारहवां दिन है और आज इस पंचांग के अनुसार चैत्र माह के शुक्ल पक्ष तिथि षष्ठी है। वहीं आज गुरूवार का दिन है।