जय हो शिव भोला भंडारी,
लीला अपरंपार तुम्हारी,
लेके नाम, तेरा नाम,
तेरे धाम आ गए,
तेरे भक्त पे संकट भारी,
रक्षा कीजिये हे त्रिपुरारी,
लेके नाम, तेरा नाम,
तेरे धाम आ गए,
॥ जय हो शिव भोला भंडारी...॥
मेरी विनती सुनो हे अवनाशी,
किरपा करदो प्रभु घट-घट वासी,
अब तो लेलो खबर हमारी,
तुम हो भक्तो के हितकारी,
लेके नाम, तेरा नाम,
तेरे धाम आ गए,
॥ जय हो शिव भोला भंडारी...॥
मेरी नैया फसी प्रभु मझधार में,
कोई तुमसा दयालु न संसार में,
माना पतित बड़ा भारी,
भोले आप हो मंगलकारी,
लेके नाम, तेरा नाम,
तेरे धाम आ गए,
॥ जय हो शिव भोला भंडारी...॥
आप के चरणों की धूल जो पाएंगे,
सारे बदल वो दुःख के झट जायेगे,
तूने उसकी बिपदा टाली,
आया शरण जो नाथ तुम्हारी,
लेके नाम, तेरा नाम,
तेरे धाम आ गए,
जय हो शिव भोला भंडारी,
लीला अपरंपार तुम्हारी,
लेके नाम, तेरा नाम,
तेरे धाम आ गए,
तेरे भक्त पे संकट भारी,
रक्षा कीजिये हे त्रिपुरारी,
लेके नाम, तेरा नाम,
तेरे धाम आ गए
शिव चालीसा | लिङ्गाष्टकम् | शिव आरती | शिव भजन | शिव पंचाक्षर स्तोत्र | द्वादश ज्योतिर्लिंग मंत्र
नारद जयंती, देवर्षि नारद के जन्मोत्सव के रूप में मनाई जाती है। इस वर्ष यह पर्व 13 मई, मंगलवार को मनाया जाएगा। यह दिन वैशाख माह के कृष्ण पक्ष की प्रतिपदा तिथि को मनाया जाता है, जो देवर्षि नारद के जन्म का प्रतीक है।
हिंदू धर्म के महान ऋषि और भगवान विष्णु के परम भक्त, नारद मुनि की जयंती को 'नारद जयंती' के रूप में मनाया जाता है। यह दिन वैषाख मास के कृष्ण पक्ष की प्रतिपदा को पड़ता है, जो इस साल 13 मई को है।
हिंदू पंचांग के अनुसार, वृषभ संक्रांति एक महत्वपूर्ण ज्योतिषीय घटना है, जब सूर्य देव एक राशि से निकलकर अगली राशि में प्रवेश करते हैं। वृषभ संक्रांति उस दिन को कहा जाता है जब सूर्य मेष राशि से निकलकर वृषभ राशि में प्रवेश करते हैं।
प्रत्येक माह के कृष्ण पक्ष की चतुर्थी तिथि भगवान गणेश को समर्पित होती है। मान्यता है कि इस दिन भगवान गणेश की पूजा करने से जीवन में सुख, सौभाग्य और समृद्धि में वृद्धि होती है।